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मेहंदी

*लेखनी काव्य प्रतियोगिता*
*13 मार्च 2023*
*मेंहदी*

मेंहदी सुहाग राग लाल रंग मोहिनी।
पावनी सुहावनी सुगंध बीज सोहिनी।।

प्रेम नाद शंख नाद जन्म उत्स पर दिखे।
नारि प्रिय बधू प्रिया चमक अखर अमित लिखे।।

वाहिका अमोल रूप नायिका सजा रही।
तेज बुद्धि की प्रबल सुघंटिका बजा रही।।

शुभ सदैव मंगलीय स्थान दिव्य धारती।
सर्व पर्व में सदैव आरती उतारती।।

विश्व प्रिय मनोहरी सगुन विगुल बजा रही।
शोभनीय चांदनी बनी सुगीत गा रही।।

कीमती अमोल निधि सुरम्य स्वागतेय है।
मेंहदी कमाल की विनम्रता अजेय है।।

 औषधीय गुण भरा पड़ा सहज रसामृता।
रोग कष्ट नाशिनी विवेक अर्क अमृता। 

दर्शनीय रस प्रधान अंग अंग शोभती।
भाग्यदायिनी अनंत आशु छवि यशोमती।।

साहित्यकार डॉक्टर रामबली मिश्र वाराणसी।

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5 Comments

Priyanka06

15-Mar-2023 09:25 AM

बहुत ही बेहतरीन

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Mohammed urooj khan

15-Mar-2023 12:20 AM

👌👌👌👌👌

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Renu

14-Mar-2023 10:51 PM

👍👍🌺

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