लेखनी - ।। कोई नहीं है ।।

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।। कोई नहीं है।। कोई नहीं है, मगर फिर भी तुम हो साथ मेरे, अकेले होने के बाद भी, होते हैं उम्मीदों के नए सवेरे, कुछ यूं जज़्ब हो मेरे भीतर, ...

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