रुबाइ

1 भाग

56 बार पढा गया

0 पसंद किया गया

खिला कर गुल मुहब्बत का अदा से मुस्कुरा देना,  हसीनों के लिए मुश्किल नहीं बिजली गिरा देना।  कोई कह दे ये जा कर के हसीं उन नाज़नीनों से,  कि मुश्किल है ...

×