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*दैनिक काव्य प्रतियोगिता* *25 फरवरी,2023* *शीर्षक:नाजायज इश्क* जायज नाजायज नहीं, होती कोई चीज। सभी कृत्य के मूल में, अभिमति सहमति बीज। नाजायज वह इश्क है, जिसमें दूषित भाव। जनमत के विपरीत ...